Cyber Crime News: बिहार के नवादा जिले में साइबर अपराधियों ने एक अनोखा कारनामा करने की कोशिश की। ठगों ने लोन दिलाने के बहाने नवादा की साइबर डीएसपी सह साइबर थाना प्रभारी प्रिया ज्योति को ही फोन कर ठगने की योजना बनाई। हालांकि, डीएसपी की सूझबूझ और प्लानिंग ने ठगों को उनके ही जाल में फंसा दिया।
घटना का विवरण
गिरफ्तार ठगों में से अमित कुमार और पुष्पांजय ने डीएसपी प्रिया ज्योति को फोन कर 20 मिनट में लोन दिलाने का प्रलोभन दिया। डीएसपी ने ठगों से बातचीत में रुचि दिखाते हुए कहा कि उन्हें पांच लाख रुपये का लोन चाहिए। बातचीत के दौरान ठगों ने लोन प्रोसेसिंग के नाम पर पैसे मांगने की प्रक्रिया शुरू कर दी।
डीएसपी की रणनीति से फंसे ठग
फोन कॉल के बाद डीएसपी ने पूरी घटना की जांच शुरू कर दी और विशेष टीम गठित की। तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर, टीम ने वारिसलीगंज थाना क्षेत्र के चकवाय गांव में छापेमारी की। इस ऑपरेशन के दौरान नौ ठगों को गिरफ्तार किया गया, जिसमें एक महिला भी शामिल थी।
गिरफ्तार ठग और बरामद सामान
गिरफ्तार ठगों की पहचान वारिसलीगंज और आसपास के क्षेत्रों के निवासियों के रूप में हुई। इनके पास से निम्नलिखित सामान बरामद किया गया:
- 19 मोबाइल फोन
- एक कार और दो बाइक
- दो आधार कार्ड, दो पासबुक, एक पैन कार्ड, एक वोटर कार्ड
- चार सिम कार्ड
साइबर अपराध पर बढ़ती चिंता
नवादा में साइबर अपराध लगातार बढ़ रहे हैं, और इस घटना ने यह साबित कर दिया कि ठग अब किसी को भी निशाना बनाने से नहीं हिचकिचाते। हालांकि, साइबर डीएसपी की सतर्कता से यह साबित हुआ कि कानून व्यवस्था इन अपराधियों को पकड़ने के लिए पूरी तरह सक्षम है।
सुझाव:
- लोगों को साइबर ठगी से बचाने के लिए जागरूकता अभियान चलाना चाहिए।
- साइबर अपराधियों के नेटवर्क को ध्वस्त करने के लिए नियमित तकनीकी निगरानी जरूरी है।
- ठगी के नए तरीकों की पहचान कर जनता को सतर्क करना जरूरी है।
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