बिहार में स्मार्ट मीटर लगाने की प्रक्रिया तेजी से चल रही है। ऊर्जा विभाग के सचिव, पंकज कुमार पाल, ने एडवांस्ड मीटरिंग इंफ्रास्ट्रक्चर सर्विस प्रोवाइडर्स की प्रगति की समीक्षा करते हुए सभी सरकारी कार्यालयों में 30 नंबर तक का स्मार्ट मीटर लगाने का ठान ली है
Bihar News:- राजद, कांग्रेस और सांसद पप्पू यादव इस मुद्दे का विरोध कर रहे हैं। हाल ही में बिहार कांग्रेस ने इस संबंध में एक रैली का आयोजन किया। हालांकि, नीतीश सरकार ने स्मार्ट मीटर लगाने की दिशा में कड़े कदम उठाने का निर्णय लिया है। नए आदेश में सभी सरकारी भवनों के लिए स्मार्ट मीटर लगाने की अंतिम तिथि 30 नवंबर निर्धारित की गई है। यदि समय सीमा के भीतर लक्ष्य पूरा नहीं हुआ, तो तीन मीटरिंग एजेंसियों पर कार्रवाई की गई है और उन्हें ब्लैकलिस्ट करने के निर्देश दिए गए हैं।
समीक्षा में यह भी बताया गया कि यदि निर्धारित समय सीमा के भीतर स्मार्ट मीटर नहीं लगाए गए, तो संबंधित भवनों के बिजली कनेक्शन काट दिए जाएंगे। मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा ने 17 सितंबर को इस बात पर जोर दिया था कि सभी सरकारी भवनों में स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाना अनिवार्य है।
स्मार्ट मीटरिंग की जागरूकता बढ़ाने की आवश्यकता
सभी मीटरिंग एजेंसियों को स्मार्ट प्रीपेड मीटरिंग सिस्टम को प्रभावी ढंग से लागू करने के लिए निर्देश दिए गए हैं। सीएमडी ने स्पष्ट किया कि स्थानीय स्तर पर कार्य करने की आवश्यकता है। उन्होंने कंज्यूमर टैगिंग और विद्युत मीटरिंग में तेजी लाने के लिए भी निर्देश दिए हैं। इसके अलावा, सरकार स्मार्ट मीटर के लाभों के बारे मे प्रचार प्रसार के माध्यम से बात रही है .
बिहार सरकार की यह पहल स्मार्ट मीटरिंग की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जो न केवल ऊर्जा प्रबंधन में सुधार लाएगी, बल्कि उपभोक्ताओं के लिए पारदर्शिता भी बढ़ाएगी।
इसे भी पढ़े:-
- बिहार की नई स्वास्थ्य योजना: 10 लाख का इलाज बिल्कुल फ्री, जल्दी करें
- बेगूसराय में 40 साल पुराने विवाद ने फिर ली जानलेवा मोड़, किसान को सरेआम मारी गई गोली – जानिए पूरी घटना
- DMCH के हेड क्लर्क और डाटा ऑपरेटर गिरफ्तार: जानें क्यों कोर्ट ने उठाया सख्त कदम
- बेगूसराय में 40 साल पुराने विवाद ने फिर ली जानलेवा मोड़, किसान को सरेआम मारी गई गोली – जानिए पूरी घटना
- बिहार में जमीन सर्वे का सबसे बड़ा बदलाव: दरभंगा में शुरू हुआ कैथी लिपि सिखाने का खास प्रशिक्षण