किडनी कांड की शिकार मां की दर्दनाक कहानी: क्या बनेगी उसकी बेटी एक डॉक्टर?

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Samastipur News Bihar

मुजफ्फरपुर की खबर: मुजफ्फरपुर में सोमवार को किडनी कांड की पीड़िता सुनीता देवी का इलाज के दौरान निधन हो गया। वह पिछले 2 साल से एसकेएमसीएच में भर्ती थीं। करीब 751 दिनों में 654 बार उनका डायलिसिस हुआ, लेकिन आखिरकार वे जिंदगी की जंग हार गईं। सकरा के मथुरापुर गांव में मंगलवार को उनका अंतिम संस्कार किया गया, जहां उनके 12 वर्षीय बेटे आकाश ने उन्हें मुखाग्नि दी।

सुनीता के निधन के बाद, भास्कर की टीम ने बुधवार को एसकेएमसीएच और मथुरापुर गांव का दौरा किया। सुनीता अपने पीछे पति और तीन बच्चों को छोड़ गईं। उनके दो बेटे, आकाश (12) और अनिकेत (10), और सबसे बड़ी बेटी सोनम हैं, जो अपनी मां की मौत के बाद गहरे सदमे में हैं।

आकाश ने बताया: “मां हमेशा कहती थीं कि मुझे और मेरी बहन को पढ़ना चाहिए। वह चाहती थीं कि मेरी बहन डॉक्टर बने, ताकि जो उनके साथ हुआ वह किसी और के साथ न हो। सुनीता चाहती थीं कि हम अच्छे इंसान बनें।”

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मुजफ्फरपुर किडनी कांड की पूरी कहानी

11 जुलाई 2022 को सुनीता को पेट में दर्द हुआ। पेट दर्द की शिकायत पर वे सकरा के बरियारपुर स्थित पवन कुमार के शुभकांत क्लीनिक गईं। पवन ने उन्हें ऑपरेशन कराने की सलाह दी और इसके लिए 20,000 रुपए वसूले। 3 सितंबर 2022 को ऑपरेशन के दौरान, झोलाछाप डॉक्टर पवन कुमार ने उनकी दोनों किडनी निकाल दीं, जिसके बाद उनकी तबियत गंभीर हो गई।

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सुनीता की मां ने 9 सितंबर को सकरा थाने में प्राथमिकी दर्ज कराई। इस मामले में पवन और डॉ. आरके सिंह के खिलाफ चार्जशीट दायर की गई थी। अब, इस मामले में न्याय की मांग के साथ-साथ सुनीता की आकांक्षाओं को भी याद किया जा रहा है।

पति का आक्रोश: “सरकार ने झूठी आशा देकर जान ली”

सुनीता के पति अकलू राम ने कहा, “सुनीता की तबियत खराब होने के बाद मैं ही घर और बच्चों का ख्याल रखता था। उसकी मौत के समय, उसने मुझसे कहा कि मैं बच्चों का अच्छे से ख्याल रखूं। वह चाहती थीं कि मेरी बेटी डॉक्टर बने।”

अकलू ने यह भी कहा कि सुनीता की कई अरमानें थीं, जो अधूरी रह गईं। “सरकार ने हमें किडनी ट्रांसप्लांट की आशा दी थी, लेकिन कुछ नहीं हुआ। मैं चाहता हूं कि जिनकी वजह से यह सब हुआ, उन्हें कड़ी सजा मिले।”

सुनीता का बड़ा बेटा आकाश बोला: “मुझे मां की बहुत याद आती है। जिस डॉक्टर ने उनके साथ ऐसा किया, उसे सजा मिलनी चाहिए।”

NHRC में दायर हुआ अवमानना वाद

सुनीता की मौत के बाद राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) में अवमानना वाद दायर किया गया है। वकील एस.के झा ने कहा कि “यह घटना बिहार सरकार की लापरवाही का नतीजा है।”

इस प्रकार, मुजफ्फरपुर की यह घटना सुनीता की मां बनने की आकांक्षा और न्याय की मांग को उजागर करती है।

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Ritu Sharma

Ritu Sharma is an experienced news editor with over a decade in journalism, currently leading editorial efforts at SamastipurNews.in. Renowned for her commitment to journalistic integrity and precision, Ritu has developed a reputation for curating insightful, unbiased news content that resonates with readers. She holds a Master’s degree in Journalism and Mass Communication, equipping her with deep expertise in media ethics and storytelling.

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